India News Haryana (इंडिया न्यूज), Chulkana Dham : बसंत पंचमी का पर्व पूरे देश में बड़े हर्षों उल्लास के साथ मनाया जाता हैं इस दिन मां सरस्वती की विशेष पूजा अर्चना की जाती है। लेकिन इसी दिन श्री श्याम बाबा की भी विशेष पूजा अर्चना होती हैं उसके साथ बाबा का पीतांबर वस्त्र भी बदला जाता हैं। पुराने वस्त्र को श्याम भक्तों में बांट दिया गया और श्री श्याम बाबा को नया अंत वस्त्र पहनाया गया। श्री श्याम बाबा का पंचामृत से स्नान करवाया गया। पीले फूलों से श्री श्याम बाबा का विशेष श्रृंगार किया गया। भक्त देर रात से ही श्री श्याम बाबा के दर्शन पाने के लिए मंदिर के गेट पर लाइनों में खड़े हो गए थे। जैसे ही मंदिर परिसर को खोला गया।
गेट नंबर 1 ओर गेट नंबर 3 से भक्तों की लंबी लंबी कतारें लग गई। भक्त लाइनों में दर्शन कर रहे थे और प्रसाद में भक्तों को बाबा का पीतांबर वस्त्र दिया जा रहा था। चुलकाना धाम में बसंत पंचमी पर पुलिस प्रशासन भी मौजूद रहा। मंदिर कमेटी, सेवादारों के साथ व्यवस्था को संभाले रखा। चुलकाना धाम में आने वाले भक्तों की संख्या जैसे जैसे दिन बढ़ता गया। भक्तों की संख्या भी बढ़ती गई। अनेक शहरों से जत्थे के जत्थे पैदल ध्वज निशान लेकर चुलकाना धाम में पहुंचे। वहीं श्री श्याम बाबा की रथयात्राएं भी दिनभर चुलकाना धाम में आती रही।
यहां तक कि हरियाणा के अलावा उत्तर प्रदेश, पंजाब, दिल्ली, राजस्थान, मध्य प्रदेश सहित दूर दराज से लाखों की संख्या में भक्त पहुंचे। वहीं श्री चुनकट ऋषि जी महाराज के मंदिर में भी हवन यज्ञ और भंडारा किया गया। जहां हजारों भक्तों ने लकीसर बाबा के दरबार में हवन यज्ञ में आहुति डाली और भंडारा ग्रहण किया। श्री चुनकट महर्षि जी मंदिर में सतयुग के समय का तीर्थ है, जिसमें भक्त स्नान करके पुण्य प्राप्त करते है।
श्री श्याम रसोई चुलकाना धाम संस्था द्वारा पीले चावलों का प्रसाद बनाया गया, जिसमें हजारों भक्तों ने बाबा का प्रसाद ग्रहण किया। भक्त नाचते गाते हुए बाबा के दरबार में पहुंचे। बसंत ऋतु को ऋतुओं का राजा कहा जाता है वसंत ऋतु का महत्व न केवल प्राकृतिक सौंदर्य के लिए है, बल्कि यह ऋतु कई त्योहारों और उत्सवों का भी समय है। होली, वसंत पंचमी, और बैसाखी जैसे त्योहार इस ऋतु में मनाए जाते हैं। वसंत ऋतु का आगमन हमें नई उमंग और उत्साह से भर देता है। यह ऋतु हमें प्रकृति के साथ जुड़ने और उसकी सुंदरता का आनंद लेने का अवसर प्रदान करती है।
श्री श्याम बाबा मंदिर परिसर को पीले रंग के गुब्बारों से सजाया गया श्री श्याम बाबा को पीले रंग के वस्त्र पहनाए गए। वहीं श्री श्याम बाबा का पीले रंग के फूलों से विषेश श्रृंगार किया गया। श्री श्याम बाबा के साथ विराजमान श्री कृष्ण बलराम ओर हनुमान जी का भी पीले फूलों से श्रृंगार किया गया। चुलकाना धाम के सभी रास्तों पर स्वागत द्वार बनाए गए। प्राचीन महाभारत कालीन पीपल के पेड़ पर मन्नत के धागे बांधे गए। श्री चुनकट महर्षि जी का भी पीले फूलों से विशेष श्रृंगार किया गया। भारतवर्ष की 84 सिद्ध पीठों में शामिल चुलकाना धाम पीठ का प्रचार प्रसार बहुत तेजी से बढ़ता जा रहा है।