P.C- Pinterst
भारत में 3 नए अपराध कानून सोमवार से लागू हो गए।
लंबे वक्त से बड़े बदलाव की मांग की जा रही थी।
सरकार ने जब तीन नए कानून बनाए तो कहा कि ”यह भारतीयों द्वारा, भारत के लिए बनाए गए कानून हैं…”
‘छलपूर्वक साधन’ या किसी महिला से शादी करने का वादा कर, उसके साथ शारीरिक संबंध बनाता है, रोजगार या पदोन्नति का झूठा वादा, किसी तरीके का दबाव डालना या असली पहचान छिपाकर शादी करना शामिल है।
भारतीय न्याय संहिता (BNS), की धारा 103 के तहत, पहली बार जाति, नस्ल या समुदाय के आधार पर की गई हत्या को एक अलग अपराध के रूप में मान्यता दी गई है।
संगठित अपराध और आतंकवाद जैसे अपराधों को शामिल करना है।
अपराध को धारा 111(1) में परिभाषित किया गया है. जिसमें- अपहरण, डकैती, वाहन चोरी, जबरन वसूली, जमीन हड़पना, सुपारी किलिंग, आर्थिक अपराध, गंभीर परिणाम वाले साइबर अपराध, ड्रग्स, अवैध वस्तुओं या सेवाओं और हथियारों की तस्करी, वेश्यावृत्ति या फिरौती के लिए मानव तस्करी गिरोह जैसी गैरकानूनी गतिविधि शामिल हैं।
भारतीय न्याय संहिता (BNS) में नाबालिग पत्नी से शारीरिक संबंध को भी रेप के दायरे में लाया गया है।
सामुदायिक सेवा के अंतर्गत-छोटी चोरी, मानहानि, और किसी सरकारी कर्मचारी के काम में बाधा डालने की नियत से आत्महत्या का प्रयास शामिल है।