इंडिया न्यूज, न्युयार्क।
Omicron Alert विश्वभर में कोरोना का कहर थोड़ा थमा था और सबने राहत की सांस ली थी लेकिन अब कोरोना के नए वेरिएंट से फिर हड़कंप मचा हुआ है। विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) ने कोरोना वायरस के नए वैरिएंट ओमिक्रॉन के वैश्विक खतरे को लेकर चेतावनी दी हुई है। हेल्थ संगठन ने कहा है कि व्यापक यात्रा प्रतिबंध भी नए कोरोना वैरिएंट के प्रसार को नहीं रोक सकेगा। बयान में कहा गया है कि 60 से अधिक उम्र के लोगों को फिलहाल यात्रा स्थगित करनी चाहिए। डब्ल्यूएचओ का कहना है कि शुरुआती नतीजों से मालूम हुआ है कि जिन लोगों को पहले कोरोना संक्रमण हो चुका है, उन्हें सबसे ज्यादा बचाव करने की जरूरत है।
डब्ल्यूएचओ के Director General Tedros Gebreyes का कहना है कि अब तक के सुबूतों से यह साफ है भारी म्यूटेशन के बाद कोविड-19 का यह वैरिएंट विश्व स्तर पर गंभीर नतीजे छोड़ सकता है। इस बीच जापान, फ्रांस व स्पेन में ओमिक्रॉन संक्रमण के चिंता बढ़ाने वाले नए मामले सामने आए हैं। अब तक ओमिक्रॉन की वजह से किसी की मौत की सूचना नहीं मिली है, लेकिन इसके बारे में निश्चित रूप से बहुत कम जानकारी है। वैश्वि संस्था ने कहा कि जिन लोगों की कोरोना संक्रण के कारण मौत हुई है, उसमें ज्यादातर ऐसे ही लोग थे जो शारीरिक तौर पर कमजोर थे, इसलिए नए वैरिएंट के संभावित खतरे के बीच एहतियात ही सबसे बड़ा हथियार है। डेल्टा व डेल्टा प्लस के अलावा कोरोना के जितने भी वैरिएंट सामने आए हैं, वह कमजोर प्रतिरक्षाा प्रणाली वाले लोगों के लिए खतरा बने हैं।
डब्ल्यूएचओ के महानिदेशक टेड्रोस गेब्रेयेसेस ने कहा, पूरी आबादी का टीकाकरण होने में जितना ज्यादा समय लगेगा वायरस उतनी तेजी से म्यूटेट होगा और यह तेजी से फैलेगा, इसलिए वैक्सीनेशन की रफ्तार को बढ़ाना बहुत जरूरी है। उन्होंने कहा, सभी को दोनों खुराक लगाना जरूरी हैं। उन्होंने कहा, यह न मानें कि कोविड हमारे बीच से चला गया है। ओमिक्रॉन से साफ संदेश मिलता है कि अभी कोविड से लंबी लड़ाई लड़नी है।
केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री राजेश भूषण ने कहा है कि भारत में ओमिक्रॉन का अब तक कोई मामला सामने नहीं आया। केंद्र ने राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों से कहा कि वे जोखिम वाले देशों से आने वाले यात्रियों के आगमन के पहले दिन आरटी-पीसीआर परीक्षण सुनिश्चित करें। इस बीच आक्सफोर्ड विश्वविद्यालय ने बताया कि इस बात का कोई सबूत नहीं है कि मौजूदा टीके ओमिक्रॉन से गंभीर बीमारी होने से नहीं बचाएंगे, हालांकि एस्ट्राजेनेका के साथ विकसित कोविशील्ड टीके का एक नया वर्जन विकसित किया जा रहा रहा है।