India News Haryana (इंडिया न्यूज), Rani Rampal Retirement: भारतीय महिला हॉकी टीम की पूर्व कप्तान रानी रामपाल ने हाल ही में संन्यास लेने का ऐलान किया है। उनका जीवन एक प्रेरणादायक कहानी है, जो गरीब परिवार से उठकर महान ऊंचाइयों तक पहुंची। रानी रामपाल, जिनका जन्म 1994 में कुरुक्षेत्र के शाहबाद में हुआ, ने अपने संघर्ष और मेहनत से हर किसी को प्रेरित किया है।
रानी के पिता रामपाल एक घोड़ा तांगा चलाते थे और ईंटें बेचा करते थे। परिवार की आर्थिक स्थिति कमजोर होने के बावजूद, रानी ने हॉकी खेलने का सपना नहीं छोड़ा। 2009 में, जब रानी केवल 15 साल की थीं, उनका चयन भारतीय हॉकी टीम में हुआ। उस वर्ष जर्मनी में आयोजित जूनियर विश्व कप में उन्होंने शानदार प्रदर्शन करते हुए भारत को कांस्य पदक दिलाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। इंग्लैंड के खिलाफ फाइनल में तीन गोल करके, उन्होंने अपने खेल का लोहा मनवाया और प्लेयर ऑफ द टूर्नामेंट का खिताब भी जीता।
अपने करियर में रानी रामपाल ने 200 से अधिक अंतरराष्ट्रीय मैच खेले हैं और कई बड़े पुरस्कार भी प्राप्त किए हैं। 2020 में उन्हें भारत सरकार द्वारा पद्म श्री और राजीव गांधी खेल रत्न जैसे प्रतिष्ठित पुरस्कारों से सम्मानित किया गया। रानी का समर्पण और संघर्ष आज की पीढ़ी की लड़कियों के लिए प्रेरणा का स्रोत हैं, और लोग अपनी बेटियों को रानी जैसा बनने के लिए प्रेरित कर रहे हैं।