होम / Haryana Pollution: हरियाणा में प्रदूषण ने तोड़े सारे रिकॉर्ड, ग्रैप लागू होने के बावजूद भी जहरीली हो रही हवा

Haryana Pollution: हरियाणा में प्रदूषण ने तोड़े सारे रिकॉर्ड, ग्रैप लागू होने के बावजूद भी जहरीली हो रही हवा

• LAST UPDATED : November 4, 2024

India News Haryana (इंडिया न्यूज), Haryana Pollution: हरियाणा में बढ़ता प्रदुषण हरियाणा सरकार के लिए मुख्य समस्या बन गई है। जहाँ एक तरफ सरकार इसे कम करने के सुझाव ढूंढ रही है वहीं दूसरी तरफ हरियाणा में किसान पराली जलाने से बाज नहीं आ रहे हैं। हरियाणा सरकार द्वारा बढ़ते प्रदुषण के मद्देनजर प्रदेश में एक अक्तूबर से विंटर एक्शन प्लान और ग्रैप-1 के नियम लागू थे। इन नियमों के लागू होने के बावजूद वायु प्रदूषण कम नहीं हो पा रहा। दिवाली के बाद भी स्थिति और गंभीर होती जा रही है। वहीं सूत्रों के मुताबिकरविवार को बहादुरगढ़ देश का दूसरा सबसे प्रदूषित शहर रहा। अंबाला का भी यही हाल है। यहां का वायु गुणवत्ता सूचकांक AQI 335 पहुंच गया। वहीं, देश में चौथे नंबर पर सोनीपत है जिसका AQI 321 दर्ज किया गया है।

  • जानिए हरियाणा समेत बाकि राज्यों का हाल
  • पराली जलाने के माले पर सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई

CM Nayab Saini: सुरजेवाला से विवाद का इस तरह होगा अंत, CM सैनी ‘डूम’ जाति के लोगों के साथ करेंगे भोजन

जानिए हरियाणा समेत बाकि राज्यों का हाल

केवल हरियाणा ही नहीं बल्कि कई अन्य राज्य भी प्रदुषण के शिकार हैं। अगर बात की जाए राजधानी दिल्ली की तो, दिल्ली का एक्यूआई 382 है। वहीं दिल्ली देश का सबसे प्रदूषित शहर माना जा रहा है। इसके अलावा भिवानी का AQI भी 300 के करीब है। वायु प्रदूषण के गंभीर स्थिति में पहुंचने के बाद हरियाणा राज्य प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के चेयरमैन पी राघवेंद्र राव ने सभी जिलों के डीसी को ग्रैप-1 के नियमों को सख्ती से लागू कराने के निर्देश दिए हैं। वहीं हरियाणा सरकार भी लगातार इसके समाधान ढूंढ रही है।

Indian-origin Germany MP Rahul Kamboj ने की मंत्री महिपाल ढांडा से मुलाकात, भारत-जर्मनी के संबंधों पर चर्चा

पराली जलाने के माले पर सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई

हरियाणा में बढ़ते प्रदुषण का मुख्य कारण प्रालि जलाने को माना जा रहा है। सरकार के सख्ती बरतने के बावजूद भी हरियाणा में पराली जलाने के मामलों पर लगाम नहीं लग रही है। वहीं राज्य में रविवार को पराली जलाने के 19 नए मामले दज किए गए हैं। आपकी जानकारी के लिए बता दें, अब तक पराली जलाने के कुल 857 मामले आ चुके हैं। हरियाणा सरकार की साड़ी मशक्कतों के बाद अब इस मामले को सुप्रीम कोर्ट ने अपने नियंत्रण में ले लिया है। जिसके बाद अब पराली जलाने पर नियंत्रण लगाने के मामले में राज्य सरकार को सोमवार को सुप्रीम कोर्ट में जवाब भी देना है। सरकार ने पराली जलाने की घटनाएं रोकने और प्रदूषण कम करने के लिए क्या किया, इस पर भी रिपोर्ट देनी है।

लग्जरी लाइफ के लिए शेख की बीवी को देनी पड़ी ये कुर्बानी!