कांग्रेस की नीतियों पर कांग्रेस हाईकमान को कठघरे में खड़े कर चुके कांग्रेस नेताओं में से सात नेता शनिवार को जम्मू में जुटे और अपनी ताकत का हाईकमान को अहसास भी कराया। गांधी ग्लाेबल फैमिली के शांति सम्मेलन के नाम पर जुटे इन नेताओं ने भले ही मंच पर पार्टी हाईकमान या गांधी परिवार पर सीधी टिप्पणी नहीं कि लेकिन इशारों ही इशारों में यह बताने से नहीं चूके कि वह हैं तो कांग्रेस है और उनसे ही कांग्रेस है।
एक तरफ राहुल गांधी तमिलनाडु में प्रचार अभियान की तैयारी में जुटे थे, वहीं कांग्रेस के यह दिग्गज एक नया मोर्चा खोलने का संकेत दे रहे थे। राज्यसभा का कार्यकाल समाप्त होने के बाद पहली दफा जम्मू-कश्मीर पहुंचे गुलाम नबी आजाद यह कहने से नहीं चूके कि राज्यसभा से रिटायर हुआ हूं राजनीति से नहीं। वहीं राज बब्बर ने साफ कर दिया कि यह जी-23 नहीं, गांधी की असली कांग्रेस है।
कांग्रेस नेता राजबब्बर ने कहा कि लोग हमें जी-23 कहते हैं लेकिन मैं आपको बता दूं कि हम गांधी-23 हैं. और गांधी-23 कांग्रेस की मजबूती चाहता है.
इस दौरान पार्टी के शीर्ष नेता कपिल सिब्बल ने कहा कि कांग्रेस पार्टी कमजोर हुई है और हमें इसे मजबूत करने की जरूरत है. इस बात को हमें स्वीकार करना चाहिए.
हरियाणा के पूर्व मुख्यमंत्री भूपेंद्र सिंह हुड्डा ने कहा कि कांग्रेस में दो तरह के लोग हैं, एक कांग्रेस पार्टी में हैं दूसरों के भीतर कांग्रेस है। गुलाम नबी आजाद भी उन लोगों में से हैं जिनके भीतर कांग्रेस है। हम लोग आज इसलिए इकट्ठा हैं कि कांग्रेस को मजबूत करें। अगर कांग्रेस मजबूत होगी, देश मजबूत होगा।