इंडिया न्यूज, म्यांमार (Army targeting Civilian in Myanmar) : म्यांमार में सेना द्वारा तख्ता पलट होने के दो साल बाद भी सेना की क्रूरता कम नहीं हुई है। आज भी म्यांमार में विद्रोहियों के बहाने वहां पर आम लोगों की जान ली जा रही है। इसके विरोध में बहुत सारे मानवाधिकार संगठन एकजुट हो गए हैं।
उन्होंने म्यांमार सेना से ऐसा न करने की मांग की है। ज्ञात रहे कि एक फरवरी 2021 को म्यांमार में सेना ने तख्तापलट करते हुए वहां चुनी हुई सरकार को गिरा दिया था और आंग सान सू को गिरफ्तार करके जेल में डाल दिया था। तभी से वहां पर अशांति का दौर चल रहा है। म्यांमार की जनता आरोप लगा रही है कि सेना चीन से मिले जेट विमानों का प्रयोग उनको मारने के लिए कर रही है।
म्यांमार की सेना ने विमानों द्वारा बम गिराते हुए 19 जनवरी को एक कार्यक्रम में शामिल होने पहुंचे लोगों को निशाना बनाया। इस कार्रवाई में 8 लोग मारे गए थे।
रिपोर्टों की बात करें तो म्यांमार में केवल 2022 में सेना ने हवाई हमले करते हुए 460 आम लोगों को मार गिराया। रिपोर्ट के मुताबिक म्यामांर में हवाई हमले रोज की कहानी बनते जा रहे हैं। सेना अपने विरोधियों को ढूंढ़ने के लिए कोई कसर नहीं छोड़ रही है। इसके चलते वो आम लोगों को निशाना बना रही है। म्यामांर विटनेस की रिपोर्ट के मुताबिक पिछले 6 महीनों में वहां 135 इस तरह की घटनाएं हो चुकी हैं।
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