यमुनानगर/देवीदास शारदा
अवैध माइनिंग और ओवरलोडेड वाहनों की नीलामी की प्रक्रिया यमुनानगर जिला प्रशासन ने शुरू कर दी है. यमुनानगर जिले में ऐसी ढाई सौ से अधिक गाड़ियां हैं जिन्हें 1 महीने का वक्त पूरा होने के बाद भी गाड़ी मालिकों ने जुर्माना देकर छुड़ाया नहीं है. अब इन वाहनों की नीलामी की जाएगी. जिले के अलग-अलग इलाकों से पकड़े गये वाहनों की नीलामी प्रक्रिया शुरू कर दी गई है.
यमुनानगर के विभिन्न थाना इलाकों में ऐसे 250 से अधिक वाहन खड़े हैं जिनके मालिकों ने जुर्माना भर नहीं छुड़वाया है. थानों और पुलिस लाइन में खड़े इन वाहनों में पेड़-पौधे उगने लगे हैं, कई वाहन अब चलने की हालत में भी नहीं रहे. इनके टायर ट्यूब और गाड़ी की बॉडी भी खराब हो रही है.
क्या है एनजीटी का नया आदेश
नेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल (एनजीटी) के नए आदेश के मुताबिक अगर कोई वाहन मालिक अपने वाहन को एक महीने तक नहीं छुड़वाते तो जिला प्रशासन उसकी नीलामी कर सकता है.
क्या कहते हैं यमुनानगर के उपायुक्त
यमुनानगर के उपायुक्त मुकुल कुमार ने बताया कि अब 1 महीने से अधिक समय पूरा होने के बाद एनजीटी के आदेश पर वाहन को नीलाम किया जा सकता है. उन्होंने बताया कि इन वाहनों की नीलामी की प्रक्रिया शुरू कर दी गई है.
यमुनानगर में अलग-अलग इलाकों से पकड़े गए ऐसे 253 वाहनों को पकड़ा गया था जिन पर 7 करोड़ 60 लाख रुपया जुर्माना लगाया गया था. वाहन मालिकों को प्रशासन ने बार-बार नोटिस भी भेजा, लेकिन कोई जवाब नहीं आया. अब जिला प्रशासन ने इन वाहनों की नीलामी की प्रक्रिया शुरू कर दी है.
ऐसे होगी नीलामी
न्यूनतम राशि तय की जाएगी
पांच अधिकारियों की एक कमेटी बनाई गई
एसडीएम बिलासपुर, जीएम रोडवेज, आरटीए, डीईडीसी और माइनिंग ऑफिसर की कमेटी
कमेटी एक-दो दिन में अपनी रिपोर्ट उपायुक्त को देगी
उसके आधार पर उपायुक्त मुकुल कुमार फैसला करेंगे