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मुख्यमंत्री मनोहर लाल की अंत्योदय की परिकल्पना लेने लगी मूर्तरूप Appreciation of Haryana’s Antyodaya scheme

• LAST UPDATED : April 15, 2022

Appreciation of Haryana’s Antyodaya scheme

भाजपा राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा ने की मनोहर सरकार की योजनाओं की तारीफ
इंडिया न्यूज, चंडीगढ़।

Appreciation of Haryana’s Antyodaya scheme मुख्यमंत्री मनोहर लाल (Chief Minister Manohar Lal) ने पंडित दीनदयाल उपाध्याय के अंत्योदय के मूल मंत्र पर चलते हुए समाज के अंतिम व्यक्ति के उत्थान की जो परिकल्पना की थी, वह अब मूर्त रूप लेने लगी है। एक ओर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी सार्वजनिक मंच पर हरियाणा की कईं योजनाओं की तारीफ कर चुके हैं, वहीं दूसरी ओर गुरुवार को गुरुग्राम पहुंचे भारतीय जनता पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जगत प्रकाश नड्डा (BJP National President JP Nadda) ने भी इस पर मुहर लगा दी। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने जनभावनाओं को सम्मान देते हुए सही मायने में अंत्योदय पर काम किया है। परिवार पहचान पत्र, मुख्यमंत्री परिवार समृद्धि योजना, म्हारा गांव-जगमग गांव योजना, हर घर-नल से जल आदि योजनाओं के माध्यम से अंतिम व्यक्ति तक लाभ पहुंचाया है।

बदलाव की शुरुआत पहले नीचे से

लोग ऊपर से नीचे तक बदलाव करने की बात करते हैं लेकिन मुख्यमंत्री श्म नोहर लाल ने बदलाव की शुरूआत सीधा नीचे से की है। समर्थ हरियाणा बनाना उनका पहला लक्ष्य है ताकि पंक्ति में खड़े अंतिम व्यक्ति का भला हो सके। प्रदेश में सबसे पहले सबसे गरीब परिवारों को आर्थिक रूप से सशक्त बनाने के लिए मुख्यमंत्री अंत्योदय परिवार उत्थान योजना के तहत 1 लाख रुपये से कम वार्षिक आय वाले लगभग 2 लाख 49 हजार परिवारों की पहचान की गई। इस योजना के दो चरणों में 156 जगहों पर 570 मेलों का आयोजन किया गया। 81,931 चिन्हित परिवारों का सर्वे किया गया। 18 विभागों की विभिन्न योजनाओं के अंतर्गत 52,961 परिवारों के आवेदन पत्र सैद्धांतिक रूप से स्वीकृत किए गए। इसी कड़ी में इन्हें बैंकों द्वारा अलग-अलग स्कीमों के तहत ऋण मिलना भी शुरू हो गया है।

मुख्यमंत्री को एक-एक व्यक्ति ही नहीं एक-एक परिवार की चिंता

मुख्यमंत्री मनोहर लाल कहते हैं कि सरकार को एक-एक व्यक्ति ही नहीं बल्कि एक-एक परिवार की चिंता है, क्योंकि यहां व्यक्ति एक ईकाई नहीं बल्कि परिवार को एक ईकाई मानते हुए परिवार पहचान पत्र की योजना शुरू की गई है। यह आधार कार्ड के बाद सत्यापित डाटा का सबसे सटीक दस्तावेज होगा। परिवार को सरकारी सेवाओं और योजनाओं का लाभ घर बैठे ही मिले और उन्हें दफ्तरों के चक्कर न काटने पड़े, इसके लिए सभी परिवारों का परिवार पहचान पत्र (पीपीपी) बनाया जा रहा है। इसके पोर्टल पर अब तक लगभग 72 लाख 37 हजार से अधिक परिवारों का पंजीकरण हो चुका है, जिससे राज्य की 2 करोड़ 75 लाख से अधिक आबादी कवर हो जाती है। अब तक 82 प्रतिशत से अधिक परिवारों का डाटा सत्यापित हो चुका है। सभी योजनाओं व सेवाओं को पीपीपी पोर्टल के साथ जोड़ा जा रहा है। अब जन्म-मृत्यु का डाटा भी आटो अपडेट होगा। युवाओं की शिक्षा, कौशल व बेरोजगारी का डाटा भी इस पोर्टल पर डाला जाएगा। सरकार राशन कार्ड बनाने का काम भी इस पोर्टल के माध्यम से करने जा रही है। यदि कोई व्यक्ति वृद्धावस्था पेंशन के लिए निर्धारित आयु पूरी कर लेता है तो पीपीपी के माध्मय से उनकी पेंशन अपने आप शुरू हो जाएगी।

मुख्यमंत्री कर रहे हर क्षेत्र का समान विकास

मुख्यमंत्री मनोहर लाल हर क्षेत्र का समान विकास कर रहे हैं। आज स्थिति ये है कि पूरे प्रदेश की 90 विधानसभा सीटों में चाहे भाजपा का विधायक हो या न हो लेकिन मुख्यमंत्री बिना किसी भेदभाव के उन क्षेत्रों के लिए नई-नई योजनाओं का पिटारा खोल रहे हैं। मुख्यमंत्री माननीय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा दिए गए सबका साथ, सबका विकास, सबका विश्वास और सबका प्रयास का मूलमंत्र लेकर आगे बढ़ रहे हैं। प्रदेश में 17 नए राष्ट्रीय राजमार्ग घोषित किए गए, इनमें से 11 का कार्य जारी है। इनके बन जाने के बाद हर जिला राष्ट्रीय राजमार्ग से जुड़ जाएगा। इसी प्रकार लगभग 30 हजार करोड़ रुपये की लागत से सराय कालेखां से पानीपत के बीच रिजनल रेपिड ट्रांजिट सिस्टम की परियोजना पर काम चल रहा है। पलवल-सोनीपत और सोहना-मानेसर के लिए लगभग 6 हजार करोड़ रुपये की लागत से हरियाणा आर्बिटल रेल कॉरिडोर का कार्य शुरू हो चुका है। सोनीपत-जींद रेलवे लाइन पर यातायात शुरू हो चुका है। रोहतक में देश की पहली एलिवेटेड रेलवे लाइन का कार्य पूरा हो चुका है। रोहतक-महम-हांसी और करनाल-यमुनानगर रेलवे लाइन तथा कुरुक्षेत्र में एलिवेटेड रेलवे लाइन का कार्य शुरू हो गया है। हिसार में प्रदेश का पहला इंटरनेशनल एयरपोर्ट बनाया जा रहा है।

कृषि सुधार और किसानों का उत्थान लक्ष्य

मुख्यमंत्री मनोहर लाल कृषि सुधार और किसानों का उत्थान लक्ष्य लेकर आगे बढ़ रहे हैं। उनका मानना है कि किसान समृद्ध होगा तभी प्रदेश में समृद्धि व खुशहाली आएगी। एमएसपी पर फसल खरीद की बात हो या प्राकृतिक आपदा से फसल नुकसान की भरपाई का विषय, सरकार ‘बीज से बाजार तक‘ हर कदम पर किसान के साथ खड़ी है। प्राकृतिक आपदा से खराब फसलों के लिए मुआवजा राशि 12 हजार रुपये से बढ़ाकर 15 हजार रुपये प्रति एकड़ की गई है । बैंकों से किसानों के लेनदेन पर स्टाम्प शुल्क 2000 रुपये से कम करके 100 रुपये किया गया है। एमएसपी पर 14 फसलों की खरीद करने वाला हरियाणा देश का एकमात्र राज्य है। गन्ने का भाव बढ़ाकर 362 रुपये प्रति क्विंटल तक किया गया है, जो देश में सर्वाधिक है। किसान को अपनी उपज बेचने में किसी तरह की दिक्कत न हो, उसे समय पर सब्सिडी, खाद, बीज व ऋण मिले, इसके लिए हमने ‘मेरी फसल-मेरा ब्यौरा पोर्टल’ शुरू किया है। खरीफ सीजन 2021 से बाजरे के लिए भी भावांतर भरपाई योजना शुरू की गई। इस योजना के तहत 2.40 लाख किसानों को बाजरे की खरीद के लिए न्यूनतम समर्थन मूल्य और औसत बाजार मूल्य के अंतर 600 रुपये प्रति क्विंटल की दर से 436 करोड़ रुपये की भावांतर राशि दी गई है। फसल विविधिकरण और जल संरक्षण के लिए शुरू की गई ‘मेरा पानी-मेरी विरासत‘ योजना में एग्रो फोरेस्ट्री को भी जोड़ा गया है।

गांवों का विकास सर्वोच्च प्राथमिकता

मुख्यमंत्री श्मनोहर लाल का मानना है कि प्रदेश के विकास का मार्ग गांवों की गलियों से होकर गुजरता है। इसलिए गांवों का विकास हमारी सर्वोच्च प्राथमिकता है। जल जीवन मिशन के तहत हर घर में नल से जल पहुंचाने वाला हरियाणा देश का पहला बड़ा राज्य है। गांवों को ‘लाल डोरा मुक्त’ करने की योजना को केन्द्र सरकार ने ‘स्वामित्व योजना’ के रूप में पूरे देश में लागू किया है। अब तक इस योजना में 6,487 गांव कवर हो चुके हैं। इस योजना के तहत अब तक 3073 गांवों के लगभग 4 लाख परिवारों को स्वामित्व कार्ड दिए जा चुके हैं। बिजली विकास का आधार है। ‘म्हारा गांव-जगमग गांव योजना’ के तहत प्रदेश के लगभग 80 प्रतिशत यानि लगभग 5600 गांवों को 24 घण्टे बिजली दी जा रही है। ग्रामीण क्षेत्रों को डिजिटल बनाने के लिए ‘ग्राम दर्शन पोर्टल’ शुरू किया है। यह पोर्टल गांवों का साइबर फेस है। इस पर 6197 ग्राम पंचायतों का डिजिटल डाटा उपलब्ध है।

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