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Cyber desk हरियाणा में साइबर क्राइम पर होगा प्रहार

PUBLISHED BY: • LAST UPDATED : February 26, 2022

‘साइबर डेस्क’ पर तैनात 274 पुलिसकर्मियों को मिला खास प्रशिक्षण

Cyber desk

इंडिया न्यूज, चंडीगढ़।

Cyber desk हरियाणा पुलिस की राज्य अपराध शाखा द्वारा तेजी से बढ़ते साइबर क्राइम पर नकेल कसने के लिए प्रदेश के उत्तरी क्षेत्र में पड़ने वाले पुलिस थानों में 137 साइबर डेस्क पर तैनात 274 पुलिस कर्मियों को तकनीकी तौर पर मजबूती देते हुए प्रशिक्षित किया गया। हरियाणा पुलिस के प्रवक्ता ने बताया कि साइबर पुलिस थाने, पंचकूला में संपन्न एक सप्ताह के प्रशिक्षण सत्र के दौरान सभी पुलिस कर्मियों को साइबर अपराध से निपटने के लिए विज्ञान एवं तकनीक के उपयोग संबंधी बारीकियों बारे जानकारी दी गई। पुलिस के यह सभी जवान साइबर क्राइम के शिकार पीड़ितों के साथ बातचीत करने और उनकी शिकायतें दर्ज करने वाले पहले व्यक्ति होंगे। इसी को ध्यान में रखते हुए उत्तरी क्षेत्र (पुलिस कमिश्नरेट पंचकूला, अंबाला रेंज, करनाल रेंज और हिसार रेंज) के 137 पुलिस थानों के 274 पुलिस कर्मियों को प्रशिक्षण कार्यक्रम के लिए चुना गया था। उल्लेखनीय है कि उत्तर क्षेत्र के जिलों के प्रशिक्षण की जिम्मेदारी ओपी सिंह, अपर पुलिस महानिदेशक, अपराध हरियाणा के मार्गदर्शन और श्री हामिद अख्तर, पुलिस अधीक्षक, साइबर अपराध हरियाणा की देखरेख में राज्य अपराध शाखा, हरियाणा को सौंपी गई थी। ट्रेनिंग के दौरान साइबर डेस्क के लिए नामित सभी पुलिस कर्मियों के प्रशिक्षण के लिए प्रदेश के जिलों को दो जोन यानी उत्तर और दक्षिण क्षेत्र में विभाजित किया गया था। उत्तर क्षेत्र के जिलों को साइबर अपराध के लिए राज्य नोडल एजेंसी (राज्य अपराध शाखा) की साइबर फोरेंसिक प्रयोगशाला, पंचकूला द्वारा प्रशिक्षित किया गया। प्रशिक्षण मॉड्यूल का समन्वयन श्री गौरव वीर, वरिष्ठ वैज्ञानिक अधिकारी, साइबर फोरेंसिक द्वारा किया गया।

10 बैचों में ‘साइबर डेस्क‘ समर्पित प्रशिक्षण कार्यक्रम आयोजित किये गये

इस दौरान प्रत्येक बैच के लिए एक सप्ताह के प्रशिक्षण के साथ 10 बैचों में ‘साइबर डेस्क‘ समर्पित प्रशिक्षण कार्यक्रम आयोजित किये गये। साइबर फोरेंसिक से इनपुट के साथ, सभी प्रशिक्षुओं को अपराध विश्लेषण के लिए आवश्यक उन्नत साइबर अपराध मॉड्यूल के साथ प्रशिक्षित किया गया। साथ ही, शिकायत मिलने से लेकर उसके अंतिम मामले के निपटारे तक प्रशिक्षुओं के सामने लाइव मामलों की भी जांच की गई। साइबर डेस्क की स्थापना का उद्देश्य वित्तीय धोखाधड़ी और महिलाओं व बच्चों के खिलाफ अपराध जैसे मामलों पर विशेष बल देते हुए साइबर वारदातों से निपटने के लिए एक समर्पित तंत्र प्रदान करना और साइबर क्राइम पीड़ितों को उनके निकटतम पुलिस स्टेशन में तत्काल सहायता प्रदान करना है। इसके अतिरिक्त, प्रशिक्षण कार्यक्रम में राष्ट्रीय साइबर अपराध रिपोर्टिंग पोर्टल (www.cybercrime.gov.in) नागरिक वित्तीय धोखाधड़ी रिपोर्टिंग और प्रबंधन प्रणाली (वित्तीय धोखाधड़ी के मामले में तत्काल सहायता प्रदान करने के लिए), साइबर अपराधों के प्रकार, साइबर कानून, साइबर अपराध जांच तकनीक, ओपन सोर्स इंटेलिजेंस और साइबर फोरेंसिक की मूल बातें आदि पर भी बल दिया गया। वित्तीय धोखाधड़ी के मामले में जोखिम को कम करने के लिए एचडीएफसी बैंक के सहयोग से ‘सिक्योर बैंकिंग‘ मॉड्यूल के बारे में भी जानकारी दी गई।

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