India News Haryana (इंडिया न्यूज), Rewari News: भारत में दहज प्रथा एक ऐसी प्रथा बन गई है जो नई नवेली दुल्हन को मेहँदी उतरने से पहले मौत का मजा चखा देती है और इस बेतुकी प्रथा के कारण कई पिता अपनी सालों की कमाई अपनी बेटी पर लगा देते हैं इसके बावजूद भी कई ससुराल वाले ऐसे होते हैं जो महिलाओं को प्रताड़ित करते हैं। अब इस प्रथा को लात मारते हुए एक आर्मी कप्तान ने जबरस्त मिसाल कायम की है।
दरअसल, रेवाड़ी जिले में आर्मी के कैप्टन ने शादी में सिर्फ एक रुपये का शगुन लेकर पुरे भारत को एक मिसाल दी है। अब इस शादी की पूरे गांव में चर्चा हो रही है और लोगों का कहना है कि आज के युवा ऐसे ही शादी करेंगे तो दहेज प्रथा का अंत हो जाएगा और किसी गरीब को अपनी बेटी की शादी के लिए कर्ज नहीं लेना पड़ेगा।
दरअसल रेवाड़ी का रहने वाला कैप्टन ललित यादव जो 29 वर्ष का है उसने एक पिता का सर गर्व से ऊंचा कर दिया। ये आर्मी कैप्टन अभी कुमाऊं रेजिमेंट में बरेली में पोस्टेड हैं। ललित ने 12वीं के बाद दिल्ली यूनिवर्सिटी में एडमिशन लिया था। इसके बाद 2018 में कंबाइंड डिफेंस सर्विसेज (CDS) का एग्जाम दिया। उन्होंने अपने पहले ही अटेम्प्ट में CDS का एग्जाम क्लियर कर लिया। इसके बाद उन्हें सेना में लेफ्टिनेंट की नौकरी मिली। फिर उनका कैप्टन पद पर प्रमोशन हो गया। उनके पिता महेद्र सिंह भी सेना में कैप्टन रह चुके हैं।
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आपकी जानकारी के लिए बता दें कि, ललित यादव की शादी 12 नवंबर को मोहल्ला आदर्श नगर की अनीषा राव नाम की युवती से हुई है। अनीषा राव अभी जयपुर के एक सरकारी कॉलेज में असिस्टेंट प्रोफेसर के पद पर हैं। उन्होंने जूलॉजी सब्जेक्ट में एमएससी की है। मिसाल कायम करने वाली बात यह रही कि ललित यादव ने अपनी शादी में अनीषा के परिवार वालों से कोई दहेज नहीं लिया। बल्कि, एक रुपये का शगुन लेकर अपनी पत्नी के साथ शादी कर एक रिश्ते को जन्म दिया।
ललित के इस फैसले के कारण देशभर में उनकी वाह-वाही हो रही है। वहीं आपको बता दें, ललित और अनीषा राव का रिश्ता करीब 3 महीने पहले ही तय किया था। इस दौरान सभी ने यह फैसला कर लिया था कि वो बिना दहेज लिए बेटे की शादी करेंगे। और खुशी ख़ुशी मनीषा के ससुराल वाले आशीर्वाद देकर उसे अपने साथ विदाकर ले गए।