करनाल मे कोरोना महामारी के कारण कांवड़ यात्रा पर प्रतिबंध लगाया है ऐसे में भारतीय डाक विभाग की गंगाजल योजना श्रावण मास में शिव के जलाभिषेक की चिंता को डाक विभाग ने दूर किया है। गंगाजल की डिमांड को देखते हुए इस बार डाक विभाग ने गंगाजल आपूर्ति को चार गुना बढ़ा दिया है।
हिन्दू धर्म शास्त्रों अनुसार सावन महीने में भगवान शिव की पूजा और उनके अभिषेक का सर्वाधिक महत्व है। आज सावन महीने का प्रथम सोमवार है और मंदिरों में शिव का अभिषेक शुरू हो गया है। वैसे तो शिव भोले नाथ का अभिषेक दूध, जल, शहद, गंगाजल, पंचामृत और गन्ने के रस से किया जाता है लेकिन इस सब मे गंगाजल से किये जाने वाले अभिषेक सर्वोत्तम बताया गया है। बीते दो वर्षो से कोरोना महामारी के कारण हरिद्वार व गंगोत्री से होने वाली कावड़ यात्रा बंद है । ऐसे में इस बार भारतीय डाक विभाग शिव पूजा का माध्यम बनेगा।
डाक विभाग ने 5 वर्ष पूर्व गंगाजल योजना शुरू की थी। इस योजना में डाक घरों में गंगोत्री का गंगाजल उपलब्ध करवा रहा है। कोई भी व्यक्ति केवल 30 रुपये में 250 मिलीग्राम की गंगाजल की बोतल पोस्ट आफिस से खरीद सकता है । कावड़ यात्रा बंद होने के बाद डाक विभाग ने इस बार सावन महीने के लिए खास तैयारी की है। इस बार डाकघरों में गंगाजल की आपूर्ति को 4 गुना बढ़ाया गया ताकि शिवभक्तों को निराश न होना पड़े।