ज्यादातर विधायकों ने किया प्रस्ताव का समर्थन
इंडिया न्यूज, चंडीगढ़।
Punjab Assembly Session Today चंडीगढ़ में केंद्रीय सर्विस रूल लागू करने के मुद्दे पर पंजाब विधानसभा का विशेष सेशन हुआ, जिसमें चंडीगढ़ में केंद्रीय सर्विस रूल लागू करने का विरोध किया गया। मुख्यमंत्री भगवंत मान ने प्रस्ताव पेश किया। मुख्य मंत्री ने कहा कि केंद्रीय सेवा नियमों को लागू करना पंजाब पुनर्गठन एक्ट का उल्लंघन है और उन्होंने चंडीगढ़ पंजाब को देने की मांग की। ज्यादातर विधायकों ने इस मुद्दे का समर्थन किया। आम आदमी पार्टी के विधायक अमन अरोड़ा ने कहा कि जब गुजरात में नरेंद्र मोदी मुख्यमंत्री थे, तब वह बहुत राज्यों के अधिकारों की बातें करते थे, मगर अब वह प्रधानमंत्री बनने के बाद गैर भाजपा शासित राज्यों की सरकारों पर हमला बोल रहे हैं। अमन ने एसवाईएल, चंडीगढ़, बीबीएमबी और बीएसएफ के अधिकारों के मुद्दे भी उठाए। अमन ने कहा कि धीरे-धीरे पंजाब का अधिकार चंडीगढ़ से समाप्त किया जा रहा है। एक विशेष सेशन एसवाईएल मुद्दे पर भी रखना चाहिए। अमन अरोड़ा ने कांग्रेस और अकाली दल पर भी निशाने साधे। आम आदमी पार्टी की विधायक बरजिंदर कौर ने कहा कि मुख्यमंत्री भगवंत मान ने यह सैशन बुलाकर बहुत बड़ा काम किया है।
कांग्रेसी विधायक प्रताप सिंह बाजवा ने कहा कि कुछ लोग कहते थे के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जो निर्णय लेते हैं वह कभी वापस नहीं लेते, मगर पंजाब हरियाणा के किसानों ने तीन कृषि कानूनों के लिए दिल्ली की सीमाओं को बंद करके सबको बता दिया और यह निर्णय वापस हुए। बाजवा ने कहा कि चंडीगढ़ पर पंजाब का हक है, इसलिए अब मजबूती से लड़ाई लड़ने की जरूरत है। केवल प्रस्ताव से नहीं, बल्कि सड़क से संसद तक व कानूनी लड़ाई लड़नी होगी। उन्होंने प्रस्ताव का समर्थन किया और उन्होंने तेज भाषा का इस्तेमाल करते हुए कहा कि पंजाबियों से पंगा लेना ठीक नहीं है। बाजवा ने कहा कि केंद्र सरकार की पार्टी को लोगों ने वोट नहीं डाले, इसलिए यह कदम बदले की भावना से उठाया गया है। बाजवा ने भगवंत मान से अनुरोध किया कि केंद्र सरकार के इस फैसले के विरुद्ध कानूनी लड़ाई के लिए सुप्रीमकोर्ट जाना चाहिए। उन्होंने यह भी कहा कि सभी पार्टियों को एकजुट होकर या लड़ाई लड़नी चाहिए।
Also Read: Ukraine Russia Live यूक्रेन का रूस के तेल डिपो पर हमला