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हरियाणा पेट्रोल-डीजल डीलर एसोसिएशन ने 15 नवंबर सुबह 6 बजे से अगले 24 घंटे की हड़ताल का ऐलान किया है. ऐसे में प्रदेश के सभी पेट्रोल पंप बंद रहने वाले हैं। झज्जर जिले के 130 पैट्रोल पंप भी बंद रहेंगे। पेट्रोल पंप संचालक 24 घंटे सांकेतिक हड़ताल कर रहे हैं। प्रदेश के किसी भी पेट्रोल पंप पर वाहन चालकों को डीजल और पैट्रोल नहीं मिलेगा। दरअसल पेट्रोल पंप संचालक पेट्रोल पदार्थों पर कम हुई एक्साइज ड्यूटी से परेशान है।अपनी मांगो को लेकर पेट्रोल पंप संचालक एक्साइज ड्यूटी में कटौती से हुए नुकसान की भरपाई की मांग कर रहे हैं।
बता दें कि 3 नवम्बर को सेंटर सरकार ने पैट्रोल और डीजल पर एक्ससाइज ड्यूटी कम की थी। जिससे पैट्रोल और डीजल के दाम प्रति लीटर 12 रुपए तक कम हो गए थे। पेट्रोल पंपों पर स्टॉक फूल होने से प्रति पंपों में 5 लाख का नुकसान हुआ है। लेकिन पेट्रोल पंप संचालकों की इस हड़ताल से आम लोग काफी परेशान हैं। जिन लोगों को हड़ताल का पता नहीं था ,उनके वाहनों में पेट्रोल खत्म होने से उन्हें काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है।
पम्प संचालकों के कहना है कि उनके एक पंप पर लगभग 20 हजार लीटर पैट्रोल और 40 हजार लीटर डीजल का स्टॉक होता है। लेकिन मंथ ऐंड पर पेट्रोल कंपनियां पेट्रोल पंपों पर टॉप फुल कराने का दबाव बनाती हैं। इसलिए जब 3 तारीख को पेट्रोल के रेट कम हुए तो सभी पेट्रोल पंपों पर पेट्रोल और डीजल का स्टॉक फूल था। पेट्रोल पंप संचालकों ने यह पेट्रोल कंपनियों से महंगे दामों पर खरीदा और उसे सस्ते दामों पर बचेना पड़ा । इसलिए उन्हें भारी नुकसान उठाना पड़ा है।
अगर झज्जर जिले की बात की जाए तो यहां कुल मिलाकर 130 पेट्रोल पंप है। एक पेट्रोल पंप पर औसतन रोजाना करीब 1000 लीटर पेट्रोल और 5000 लीटर डीजल की बिक्री होते हैं। जब 15 नवम्बर को जिले के सभी पेट्रोल पंप बन्द रहेंगे तो यहां करीब 1 लाख 30 हजार लीटर पेट्रोल और 6 लाख 50 हजार लीटर डीजल नहीं बिकेगा। जिससे लगभग साढ़े 15 करोड़ रुपये का लेनदेन प्रभावित हो सकता है।पंप डीलर ने बायो डीजल के नाम पर नकली डीजल की बिक्री रोकने की भी मांग सरकार से कि है। इतना ही नहीं उन्होंने पैट्रोल और डीजल पर कमीशन बढ़ाने की भी मांग की है। डीलरों का कहना है की 2017 के बाद से पंप डीलरों का कमीशन नहीं बढ़ा है। साथ ही उन्होंने बॉर्डर से लगते सभी राज्यों के मुकाबले पैट्रोल डीजल के रेट कम करने की मांग की है। उन्होंने बताया कि पंजाब, हिमाचल और चंडीगढ़ में पेट्रोल डीजल के रेट हरियाणा से कम हैं। इसलिए हरियाणा के सीमावर्ती इलाकों के लोग इन राज्यों से वाहनों में तेल डलवाते हैं। जिससे पंप संचालकों की बिक्री कम होने से उन्हें भारी नुकसान हो रहा है। पेट्रोल पंप संचालकों ने सरकार को चेतवानी देते हुए कहा कि अभी तो सिर्फ सांकेतिक स्ट्राइक कर रहे हैं। लेकिन अगर उनकी मांगे पूरी नही हुई तो वे हड़ताल का दायरा और बढ़ा देंगे ।