पवन शर्मा, India News (इंडिया न्यूज़), Surjewala on HCS Result, चंडीगढ़ : हरियाणा लोकसेवा आयोग द्वारा सोमवार को घोषित एचसीएस की मुख्य परीक्षा में 96 पदों के लिए केवल 61 अभ्यर्थियों को पास किए जाने पर कांग्रेस के राष्ट्रीय महासचिव एवं राज्यसभा सांसद रणदीप सुरजेवाला ने मनोहर सरकार पर ज़ोरदार हमला बोला और कहा कि ‘हेराफेरी सर्विस कमीशन’ के नाम से कुख्यात हो चुके एचपीएससी ने एक बार फिर से इस परीक्षा के आयोजन से लेकर परिणाम तक अपना असली रंग दिखा दिया है।
सुरजेवाला ने कहा कि एचपीएससी ने मई में एचसीएस कार्यकारी शाखा एवं संबद्ध सेवाओं के 96 पदों के लिए प्रारंभिक परीक्षा ली थी, जिसमें पदों की संख्या के 12 गुणा अर्थात लगभग 1200 उम्मीदवारों को मुख्य परीक्षा के लिए पास दिखाया गया था। कैंडिडेट्स ने प्रारंभिक परीक्षा को भी उच्च न्यायालय के समक्ष चुनौती दी थी, क्योंकि इस परीक्षा में सीसैट के पेपर में 38 प्रश्न पिछली परीक्षा से नकल करके दिए गए थे लेकिन, मनोहर लाल सरकार ने अभ्यर्थियों को कानूनी दांवपेच में उलझाकर अगस्त में मुख्य परीक्षा करवा ली।
सुरजेवाला ने कहा कि नियमों के मुताबिक, मुख्य परीक्षा में अभ्यर्थियों को मेरिट में आने के लिए हिंदी तथा अंग्रेजी के पेपर में 33 प्रतिशत तथा सभी पेपरों के मिलाकर कुल 45 प्रतिशत अंक हासिल करने होते हैं। जो अभ्यर्थी ये शर्त पूरी करते है, उनमें से कुल पदों के ढाई गुणा अभ्यर्थियों की मैरिट बनाकर उनका साक्षात्कार के लिए बुलाया जाता है।
प्रदेश के इतिहास में ये पहली बार हुआ है कि जितने पद हैं, उसके केवल दो तिहाई उम्मीदवार ही मुख्य परीक्षा पास कर पाए। अब इसके लिए दो ही निष्कर्ष निकाले जा सकते हैं या तो हरियाणा के मेधावी युवाओं को जानबूझकर फेल किया गया है ताकि बाहरियों को हरियाणा में फिट किया जा सके। या फिर प्रारम्भिक परीक्षा में गड़बड़ियां करके ऐसे युवाओं को पास किया गया था जो मुख्य परीक्षा में 33 प्रतिशत अंक भी हासिल नहीं कर पाए।
सुरजेवाला ने चेतावनी देते हुए कहा कि इस सरकार का ‘झोला पैक’ होने का समय आ चुका है। इसलिए हरियाणा के युवाओं को हताश होने की ज़रूरत नहीं है, प्रदेश में कांग्रेस की सरकार बनते ही एचपीएससी के सभी कारनामों की विस्तृत जांच करवाकर दोषियों के खिलाफ कठोर कार्रवाई की जाएगी। उन्होंने कहा कि हरियाणा की जनता इस जनविरोधी सरकार को बाहर करने का मन बना चुकी है।
सुरजेवाला ने सरकार से जवाब मांगते हुए कहा कि मनोहर साहब जवाब दें कि क्या प्रारम्भिक परीक्षा में ऐसे बच्चों को पास किया गया था जो मुख्य परीक्षा में हिंदी और अंग्रेज़ी के पेपर में 33 प्रतिशत अंक भी नहीं ले पाए या फिर 1200 में से लगभग 1100 अभ्यर्थियों को जानबूझकर फेल किया गया है?
रणदीप ने सरकार पर हमला बोलते हुए आरोप लगाया कि इनके इस हेराफेरी सर्विस कमीशन ने तो आरक्षित वर्गों के अभ्यर्थियों का भी गला घोंट दिया। उन्होंने सरकार से मांग करते हुए कहा कि मनोहर लाल इस प्रदेश के अनुसूचित जाति और पिछड़े वर्गों के युवाओं के सपनों को कुचलने के गुनहगार हैं। यदि ये सरकार इस आरोप को नकारती है तो मनोहर साहब मुख्य परीक्षा का कैटेगरी वाइज रिजल्ट घोषित करके बताएं कि इन सिर्फ 61 सफल अभ्यर्थियों में से अनुसूचित जाति, बीसी ए, बीसी बी, ईडब्ल्यूएस और विकलांग श्रेणी के कितने-कितने उम्मीदवार मुख्य परीक्षा में पास हुए हैं?
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