देश

Wagah Border Amritsar : वाघा बॉर्डर वह स्थान जहां आज भी देशभक्ति के जोश से भर जाता है हर हिंदुस्तानी

  • हर रोज करीब 15 से 20 हजार लोग पहुंचते हैं यहां
  • उत्साह बढ़ा देता है रीट्रीट सेरेमनी में बीएसएफ जवानों का जोश

India News (इंडिया न्यूज), Wagah Border Amritsar, अमृतसर : भारत और पाकिस्तान के बीच सीमा रेखा पर अमृतसर के पास वाघा बॉर्डर वो स्थान है जिसे देखने के लिए दुनिया भर से लोग हर रोज पहुंचते हैं। यह स्थान अमृतसर शहर से कुछ ही दूरी पर स्थित है। वाघा बॉर्डर भारत और पाकिस्तान के बीच एक अहम स्थान है। यहां हर रोज रीट्रीट सेरेमनी देखने लोग पहुंचते हैं।

यहां पर हर रोज करीब 20 हजार लोग पहुंचते हैं। इस तरह से देखा जाए तो यहां साल भर में करीब 72 लाख लोग पहुंचते हैं जो बीएसएफ जवानों का जोश देखकर देशभक्ति के रंग से सराबोर हो जाते हैं। यदि आप भी अपने परिवार से गर्मियों की छुट्टियों में देश के कुछ दार्शनिक स्थान देखने का प्रोग्राम बना रहे हैं तो आप एक बार वाघा बॉर्डर जरूरी आएं।

वाघा गांव के नाम पर पड़ा बॉर्डर का नाम

वाघा बॉर्डर

दरअसल वाघा भारत और पाकिस्तान की सरहद पर मौजूद एक गांव है। इसी के नाम पर वाघा बॉर्डर का नाम पड़ा है।
मौजूदा समय में यह गांव पाकिस्तान सरहद में आता है। यह अमृतसर (भारत) और लाहौर (पाकिस्तान) के बीच गैंड ट्रंक रोड पर है। वाघा बॉर्डर लाहौर से 29 किलोमीटर और अमृतसर से 27 किलोमीटर की दूरी पर है।

क्या है खास

वाघा बॉर्डर

वाघा बॉर्डर में दोनों देशों के सुरक्षा बलों द्वारा हर रोज की जाने वाली रीट्रीट सेरेमनी इसको खास बनाती है। वाघा बॉर्डर समारोह का मुख्य मकसद दोनों देशों के बीच आपसी सहयोग और सौहार्द का माहौल बनाना है। यह बीटिंग रिट्रीट समारोह के नाम से मशहूर है। इस समारोह के दौरान औपचारिक रूप से सीमा को बंद किया जाता है और दोनों देश के झंडे को सम्मानपूर्वक उतारा जाता है। यह समारोह हर रोज शाम में सूर्यास्त से पहले आयोजित होता है। यह एक मनोरंजन समारोह है जिसमें हर रोज देशभक्ति का प्रदर्शन भी किया जाता है।

कब शुरू हुई रीट्रीट सेरेमनी

वाघा बॉर्डर पर होने वाली रीट्रीट सेरेमनी के चलते इसकी पहचान पूरे विश्व में विशेष रूप से बन चुकी है। हम आपको बता दें की पहली बार 1959 में यहां पर रीट्रीट सेरेमनी का आयोजन किया गया था। तब यह सेरेमनी हर रोज नहीं की जाती थी। कुछ विशेष अवसरों पर इसका आयोजन किया जाता था। इसके बाद 1 दिसंबर 1965 को यहां पर इस सेरेमनी का आयोजन नियमित रूप से किया जाने लगा। केवल भारत और पाकिस्तान के बीच युद्ध के दौरान कुछ दिनों के लिए इस सेरेमनी को रोका गया था।

कैसे पहुंचे वाघा बॉर्डर

यदि आप अपने परिवार सहित वाघा बॉर्डर पर होने वाली यह शानदार परेड देखने का मन बना रहे हैं तो इसके लिए आप हवाई जहाज, रेल मार्ग और सड़क मार्ग से आसानी से पहुंच सकते हैं। आप देश अथवा विदेश से सीधा हवाई जहाज से अमृतसर एयरपोर्ट पर पहुंच सकते हैं इसके साथ ही अमृतसर में ही रेलवे जंक्शन है जहां हर रोज सुपर फास्ट, एक्सप्रेस गाड़ियां आती-जाती हैं । इसलिए आप यहां रेल मार्ग और सड़क मार्ग से भी आसानी से पहुंच सकते हैं। यह स्थान अमृतसर शहर से मात्र 27 किलोमीटर की दूरी पर है।

Harpreet Singh

Share
Published by
Harpreet Singh

Recent Posts

Stubble Burning: सरकार की सख्ती के बाद घटे पराली जलाने के मामले, इस क्षेत्र में किसानों पर हुए नए FIR

India News Haryana (इंडिया न्यूज), Stubble Burning: हरियाणा में प्रदूषण की समस्या लगातार बढ़ती जा…

8 mins ago

CM Saini: ‘पराली न जलाने पर किसानों को दे रही…’, CM सैनी का पराली जलाने पर बड़ा बयान

India News Haryana (इंडिया न्यूज), CM Saini: हरियाणा के मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी ने घोषणा…

1 hour ago

Food Samples: प्रदेश में मिलावटी खाद्य पदार्थों की बढ़ोतरी, 25 प्रतिशत सैंपल फेल

India News Haryana (इंडिया न्यूज), Food Samples: हरियाणा में मिलावटी खाद्य पदार्थों का कारोबार तेजी…

2 hours ago